उत्तराखंड में स्थित चार धाम – गंगोत्री, यमुनोत्री, केदारनाथ और बद्रीनाथ – के कपाट 30 अप्रैल 2025 से खुलने जा रहे हैं।
यह यात्रा हर साल लाखों श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक ऊर्जा देती है और हिन्दू धर्म में इसका विशेष स्थान है।
यह यात्रा आसान नहीं है, क्योंकि इसमें आपको ऊँचाई वाले क्षेत्रों, संकरे और पथरीले रास्तों, और कम ऑक्सीजन वाले इलाकों से होकर गुजरना पड़ता है।
मौसम भी कभी-कभी काफी ठंडा और अनिश्चित होता है, जिससे शरीर पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है।
अगर किसी को दिल से जुड़ी कोई समस्या, ब्लड प्रेशर, या सांस लेने में तकलीफ है, तो बिना डॉक्टरी सलाह यात्रा पर न निकलें।50 साल से ऊपर के यात्रियों को खास ध्यान रखना चाहिए और ज्यादा exertion से बचना चाहिए।
यात्रा से पहले फिजिकल फिटनेस पर ध्यान दें – योग, वॉकिंग और सांस से जुड़ी कसरतें शुरू करें।
डॉक्टर से पूरी चेकअप रिपोर्ट लेकर ही यात्रा की योजना बनाएं।
साथ में ज़रूरी दवाएं, मेडिकल किट, और ऑक्सीजन सपोर्ट जैसे जरूरी सामान रखें।
हमेशा धीरे-धीरे चलें, खुद को ओवरएक्सर्ट न करें।
शरीर को हाइड्रेटेड रखें – पानी और हल्का भोजन लेते रहें।
बहुत ज्यादा ठंड होने पर शरीर को गर्म रखें और सांस लेने में दिक्कत हो तो तुरंत रुकें।
यात्रा से पहले नियमित रूप से प्राणायाम, अनुलोम-विलोम, और ब्रिस्क वॉकिंग करें।
नमक और फैट की मात्रा कम करें और दिल को मजबूत रखने वाले फूड्स जैसे ड्राई फ्रूट्स और ओमेगा-3 फूड्स खाएं।