राजधानी दिल्ली के मुंडका क्षेत्र में एक रासायनिक वेयरहाउस (Chemical Warehouse) में देर रात एक भीषण आग लग गई, जिससे पूरे इलाके में अफरातफरी मच गई। आग इतनी भयानक थी कि उसकी ऊंची-ऊंची लपटें आसमान में दूर-दूर तक नजर आ रही थीं। चूंकि यह फैक्ट्री रसायनों से भरी थी, इसलिए आग ने कुछ ही समय में विकराल रूप धारण कर लिया। मौके पर मौजूद स्थानीय लोगों ने तुरंत इसकी सूचना अग्निशमन विभाग को दी।
दमकल विभाग को जैसे ही आग की सूचना मिली, उन्होंने तुरंत कार्रवाई करते हुए मौके पर कई गाड़ियां भेजीं। बताया जा रहा है कि करीब 25 से ज्यादा फायर टेंडर घटनास्थल पर पहुंचे और लगातार कई घंटों तक आग बुझाने का प्रयास किया गया। भारी धुएं और रसायनों की उपस्थिति के बावजूद दमकल कर्मियों ने बहादुरी दिखाते हुए आग पर नियंत्रण पा लिया।
सबसे बड़ी राहत की बात यह रही कि आगजनी की इस घटना में किसी के जानमाल का नुकसान नहीं हुआ। चूंकि यह हादसा रात में हुआ, इसलिए मौके पर बहुत कम कर्मचारी मौजूद थे और वे समय रहते सुरक्षित स्थानों पर चले गए। दमकल विभाग की त्वरित प्रतिक्रिया और पेशेवर दक्षता के चलते एक बड़ा हादसा होने से टल गया।
प्रारंभिक जानकारी के मुताबिक, आग लगने की वजह शॉर्ट सर्किट हो सकती है। हालांकि, पुलिस और फायर सेफ्टी विभाग की टीमों ने मामले की जांच शुरू कर दी है। पूरे घटनाक्रम की गहनता से पड़ताल की जा रही है ताकि आग लगने के सटीक कारणों का पता लगाया जा सके और भविष्य में इस तरह की घटनाओं से बचा जा सके।
दिल्ली के मुंडका क्षेत्र में हुआ यह हादसा एक बार फिर दर्शाता है कि औद्योगिक क्षेत्रों में फायर सेफ्टी के मानकों का पालन करना कितना आवश्यक है। समय पर दमकल कर्मियों की कार्रवाई ने जहां एक बड़ी त्रासदी को रोका, वहीं अब जांच एजेंसियों के सामने यह जिम्मेदारी है कि वे कारणों को उजागर करें और उचित कार्रवाई सुनिश्चित करें।