आम में प्राकृतिक शर्करा और अम्ल होता है, वहीं दूध में लैक्टोज होता है। जब दोनों एक साथ मिलते हैं, तो पाचन क्रिया धीमी हो सकती है। इससे गैस, ऐंठन, डायरिया या अपच की समस्या हो सकती है।
विशेष रूप से जिन लोगों का डाइजेस्टिव सिस्टम कमजोर है या जिन्हें लैक्टोज इनटॉलरेंस है, उनके लिए यह संयोजन नुकसानदायक हो सकता है।
आयुर्वेद के अनुसार, दूध और आम का गलत मिलान त्वचा रोगों जैसे मुंहासे, खुजली, रैशेज़ या एक्ज़िमा को जन्म दे सकता है। यह ‘तामसिक' और 'कफवर्धक' प्रभाव पैदा करता है, जिससे शरीर में विषैले तत्व (toxins) बन सकते हैं जो त्वचा पर असर डालते हैं।
आयुर्वेद में “अमा” उस अपाचित भोजन को कहते हैं जो पाचन अग्नि (digestive fire) की कमजोरी से शरीर में सड़ने लगता है। आम और दूध का संयोजन अक्सर ऐसा ही अपाच्य भोजन बनाता है। इससे थकान, भारीपन, एलर्जी और रोग प्रतिरोधक क्षमता में कमी हो सकती है।
बहुत से लोग आम और दूध खाने के बाद आलस्य और भारीपन महसूस करते हैं। यह मन की स्थिति (mental clarity) को भी प्रभावित कर सकता है। खासकर दिन में सेवन करने से नींद जैसी स्थिति बन जाती है।
अगर आप आम और दूध दोनों पसंद करते हैं, तो घबराने की जरूरत नहीं है। कुछ सावधानियों के साथ आप इनका आनंद ले सकते हैं:दूध और आम को एक साथ न खाएं। कम से कम 1.5 से 2 घंटे का गैप रखें।अगर आप मैंगो शेक बनाना चाहते हैं:पका हुआ, मीठा आम लें।उबला हुआ, ठंडा दूध इस्तेमाल करें।ऊपर से दालचीनी या इलायची मिलाकर पाचन सुधार सकते हैं।दही या छाछ के साथ आम का सेवन अपेक्षाकृत सुरक्षित है, क्योंकि ये प्रोबायोटिक होते हैं।प्लांट-बेस्ड मिल्क (जैसे बादाम या ओट मिल्क) विकल्प हो सकते हैं, जो हल्के और सुपाच्य होते हैं।